Ixigo IPO का पूरा पैनोरमा – क्या है, कब खुलेगा और कैसे बुक करें?

अगर आप शेयर बाजार में नए हैं या पहले से ही निवेश कर रहे हैं, तो Ixix (Ixigo) का IPO आपके दिमाग में जरूर आया होगा। यात्रा और ट्रैवल ऐप का नाम अब स्टॉक मार्केट में भी सुनाई दे रहा है। इस लेख में हम ख़ास तौर पर देखेंगे कि इस IPO में क्या खास है, इश्यू की कीमत कितनी होगी, और निवेश करने के लिए कौन‑से कदम जरूरी हैं।

Ixigo IPO की मुख्य बातें – टाइमलाइन और इश्यू प्रोफ़ाइल

Ixigo ने 2024 के अंत में अपने आईपीओ की घोषणा की थी और नियोजित तारीखें इस प्रकार हैं: रंगारंग आवेदन अवधि 15‑30 अप्रैल, allotment 5‑6 मई और लिस्टिंग 23 मई। कंपनी का इश्यू आकार लगभग 15 करोड़ शेयर होगा, फॉर्म 2 में बताया गया है कि प्राइस बैंड 450‑500 रुपये प्रति शेयर रहने की सम्भावना है। यह प्राइस बैंड बाजार के मौजूदा ट्रेंड और कंपनी के फंडिंग जरूरतों को ध्यान में रखकर तय किया गया है।

कंपनी की वैल्यूएशन लगभग 12‑14 अरब रुपए की अनुमानित की गई है, जिससे यह इस साल के बड़े‑बड़े टेक‑IPO में जगह बना रही है। अगर आप इस भाव पर सब्सक्राइब करते हैं तो आपको बाद में ट्रेडिंग के दौरान अस्थायी उतार‑चढ़ाव देखना पड़ सकता है, पर लिस्टिंग के पहले के दिनों में अक्सर अच्छा रिटर्न भी मिलता है।

कैसे बुक करें और क्या देखें – शुरुआती निवेशकों के लिए टिप्स

सबसे पहले, अपने डिमैट अकाउंट को अपडेट रखें और अपने ब्रोकर (जैसे Zerodha, Upstox) के पास पर्याप्त फण्ड हो। IPO फ़ॉर्म में अपना PAN, ग्रेसपीरियड, और बैंकििंग जानकारी देनी होती है। ट्रेडिंग दिवस में आप एप्लिकेशन बॉक्स में ऑर्डर डाल सकते हैं या फिर बॉण्डरी सर्विसेज के ज़रिए सीधे बुकिंग कर सकते हैं। याद रखें, सब्सक्रिप्शन की आख़िरी तारीख के बाद बदलाब नहीं हो सकता।

जब आप बुकिंग कर रहे हों तो कंपनी की ऑफ़रिंग मेमोरेंडम (DRHP) पढ़ें। इसमें कंपनी के फाइनेंशियल्स, प्रोडक्ट पाईपलाइन, और रिस्क फॅक्टर्स की पूरी जानकारी होती है। खास तौर पर देखें कि कंपनी का राजस्व कैसे बढ़ रहा है, क्या कोई बड़ा नुकसान (लॉस) है, और कौन‑से प्रमुख प्रतियोगी हैं। इससे आपको अपने जोखिम को समझने में मदद मिलेगी।

एक और अहम बात – एप्लिकेशन फॉर्म में ग्रेसपीरियड का चयन करना न भूलें। अगर आप 3 साल या 5 साल के ग्रेसपीरियड चुनते हैं तो IPO के बाद शेयर बेचने की अनुमति मिलने में देर हो सकती है, पर इससे टैक्स बचत भी हो सकती है।

ऑफ़रिंग के बाद, अगर आपके बिडिंग सफल हो जाती है तो आप शेयरों की अलॉटमेंट फॉर्म में देखेंगे। अलॉटमेंट प्रतिशत आम तौर पर 30‑50% के बीच रहता है, लेकिन अगर हाई डिमांड है तो आपका अलॉटमेंट कम भी हो सकता है। अलॉटमेंट मिलते ही शेयर आपके डिमैट खाते में जमा हो जाएंगे, और लिस्टिंग के दिन आप उन्हें ट्रेड कर सकते हैं।

अंत में, याद रखें कि हर IPO में जोखिम रहता है। बाजार की प्राइसिंग, कंपनी की वास्तविक प्रदर्शन, और राजनीतिक‑आर्थिक माहौल सभी चीज़ें शेयर कीमत को प्रभावित कर सकती हैं। इसलिए, केवल एक ही IPO पर सभी एग्ज़िट नहीं करना चाहिए, बल्कि पोर्टफ़ोलियो में विविधता रखें। अगर आप Ixigo के बिजनेस मॉडल में भरोसा रखते हैं और दीर्घकालिक रिटर्न की आशा है, तो यह IPO आपकी सूची में जोड़ने लायक हो सकता है।

संक्षेप में, Ixigo IPO एक रोचक अवसर है, पर सही जानकारी, टाइमलाइन, और जोखिम समझ के साथ ही कदम बढ़ाएँ। इस गाइड को फॉलो करके आप आत्मविश्वास से बुकिंग कर सकते हैं और संभावित रिटर्न का फायदा उठा सकते हैं। शुभ निवेश!